Credit Card क्या होता हैं – क्रेडिट कार्ड कैसे बनवाये:-
Credit Card क्या होता हैं?
क्रेडिट कार्ड प्लास्टिक का एक ऐसा कार्ड है जिसका प्रयोग आप किसी दुकान का बिल, ऑनलाइन खरीददारी, money transfer और ATM में से नकद पैसे निकलवाने के लिए इस्तेमाल कर सकते है। क्रेडिट कार्ड को Cash Advance और Cash Withdrawal भी कहा जाता है. क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल आप न सिर्फ अपने देश में बल्कि बाहर विदेश में भी कर सकते हो।
क्रेडिट कार्ड की सुविधा बैंक द्वारा दी जाती है. जिसमें आपको कुछ धन राशि की सीमा उधार के रूप में दी जाती है. तो जब आपको किसी चीज के लिए भुगतान करना होता है तो आपको उसे नकद पैसे नही देने होते बल्कि आप आने क्रेडिट कार्ड के जरिये उसकी राशी का भुगतान कर सकते हो. आपके कार्ड की धन राशि की सीमा ही आपकी अंतिम राशि सीमा होती है और आपको हमेशा कुछ ना कुछ राशि अपने क्रेडिट कार्ड में बचा कर रखनी चाहियें. जब आप भुगतान करते हैं,तो आप खर्च की गई रकम और ब्याज वापस लौटा रहे होते हैं।
Credit Card kya hota hai
क्रेडिट कार्ड कैसे बनवाये ( Apply for Credit Card ) :-
यदि आप क्रेडिट कार्ड बनवाना चाहते है और आप एक आम नागरिक है तो भी आप अपना क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन सकते है | क्रेडिट कार्ड बनवाने के तीन तरीके होते है. आइये जानते है क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन कैसे करें
1. नौकरी वालें ( Employed ) :-
अगर आप किसी सरकारी पद पर या किसी अच्छी कंपनी में अच्छे पद पर है तो आप अपनी आय की रसीद को लेकर बैंक जाकर या फिर ऑनलाइन आवेदन करें. आपकी मासिक आय की सीमा ही आपके क्रेडिट कार्ड की धन राशी की सीमा को निर्धारित करता है. क्रेडिट कार्ड बनवाने का ये तरीका सबसे सरल और सहज है।
2. स्वरोजगार वाले ( Self Employed ) :-
वे व्यक्ति जो अपना खुद का कोई व्यापर करते है तो वे लोग बैंक जाकर अपने व्यापार के बारे में सारी जानकारी दें और अपनी प्रतिमाह की आय के बारे में बतायें. इसके लिए आपको इनकम टैक्स रिटर्न की रसीद भी दिखानी पड सकती है. इन्ही दो चीजो को आधार मानकर बैंक आपके क्रेडिट कार्ड के आवेदन को स्वीकार करता है और कार्ड की धन राशी की अधिकतम सीमा को निर्धारित करता है।
3. यदि नौकरी वालें / स्वरोजगार वाले दोनो ही ना हो तो:-
तो भी एक तरीका है जिसको अपनाकर आप भी क्रेडिट कार्ड बनवा सकते हो. इसके लिए आपको किसी बैंक में अपना खाता खुलवाना होता है. खाता खुलवाने के बाद अपने अकाउंट में एक निर्धारित राशि की FD अर्थात फिक्स डिपाजिट करा दें. आपका ये फिक्स डिपाजिट आपकी जमा राशि और गारंटी में रूप में बैंक के पास रहता है और इसी के आधार पर आपको क्रेडिट कार्ड की सुविधा दी जाती है. साथ ही FD की राशि के आधार पर ही क्रेडिट कार्ड की सीमा का निर्धारण किया जाता है।
क्रेडिट कार्ड का मतलब क्या है?
क्रेडिट कार्ड से क्या क्या कर सकते हैं?
भारत में टॉप 10 क्रेडिट कार्ड
क्रेडिट कार्ड के प्रकार / Types Of Credit Card
credit card तीन प्रकार के होते है जो मई आपको नीचे सरल तरीके से बताऊंगा
साधारण उद्धेश्य क्रेडिट कार्ड (Revolving Credit Card)
ये Credit card कही भी,किसी भी चीज के लिये,कपड़ों से लेकर भोजन, उड़ान के लिये खर्च करने हेतु प्रयोग किये जा सकते हैं।
स्टोर कार्ड (store card ):-
ये कार्ड किसी विशेष स्टोर या स्टोरों के समूह में ही,या विशेष उद्धेश्य के लिये ही प्रयोग किये जा सकते हैं। डिपार्टमेंट स्टोर कार्ड या अधिकांश आपके पसंदीदा कपड़े के स्टोरों के कार्ड इसके उदाहरण हैं। इस प्रकार के कार्ड पर ब्याज की दर काफी अधिक होती है।
परंपरागत चार्ज कार्ड:-
चार्ज कार्ड में आपको खरीददारी या सेवाओं के लिये सारी रकम एक निश्चित समय में वापस कर देनी होती है। सामान्यतः इस प्रकार के क्रेडिट के लिये कोई ब्याज नहीं देना होता है,लेकिन आपको पूरा बकाया हर महीने भर देना पड़ता है। चार्ज कार्ड को ट्रैवल एंड एंटरटेनमेंट कार्ड भी कहा जाता है—कुछ उदाहरण हैं,अमेरिकन एक्सप्रेस और डाइनर्स क्लब चार्ज कार्ड।
India Me कौन सी बैंकें credit card offer करती है
वैसे तो सभी बड़े बड़े बैंक क्रेडिट कार्ड ऑफर करती हे, यहाँ में आपको कुछ प्रमुख बैंकों के नाम बताता हूँ जो credit card प्रदान करती हैं.
State bank of India, Bank of Baroda, Bank of India, Canara Bank, PNB Indian overseas Bank, Corporation Bank, Union Bank, Hdfc Bank, Icici Bank, kotak Bank, indusind Bank, Axis Bank, Hsbc, Syndicate Bank ,vijaya Bank
क्रेडिट कार्ड के लाभ :-
- आपको कही नकद पैसे लेकर नही जाने पड़ते।
- आप ऑनलाइन शोपिंग कर सकते हो, साथ ही आपको क्रेडिट कार्ड से खरीदारी पर अधिक बचत या डिस्काउंट भी दिया जाता है।
- आप अपने सारे खर्चों को एक मासिक भुगतान में एकीकृत कर सकते हैं।
क्रेडिट कार्ड के नुकसान :-
- यदि आप अपने कार्ड खाते का संचालन सही तरीके से नहीं करते हों तो आपको ओवर-लिमिट या लेट फीस लग सकती है।
- देर से भुगतान करने या ओवर लिमिट आपके क्रेडिट स्कोर पर बुरा असर डाल सकते हैं।
- क्रेडिट कार्ड देते वक़्त कहा जाता है कि क्रेडिट कार्ड पर जीरो EMI है किन्तु ये नही बताया जाता जीरो प्रतिशत ब्याज पर EMI की कुछ नियम और शर्ते लागू होती है.
- आज कल ऑनलाइन क्रेडिट कार्ड के frauds बहुत ही बढ़ गए हे इसलिए कार्ड का प्रयोग सावधानी से करे
क्रेडिट कार्ड:-
एक क्रेडिट कार्ड के सामने का पाठ:
- जारीकर्ता बैंक लोगो
- ई.एम.वी चिप
- होलोग्राम
- क्रेडिट कार्ड संख्या
- कार्ड ब्रांड लोगो
- समापन तिथि
- कार्डधारक नाम
- चुम्बकीय पट्टी
- हस्ताक्षर पट्टी
- कार्ड सुरक्षा कोड
प्रोसेसिंग:-
ईडीसी प्रोसेसिंग:-
विभिन्न कार्ड:-
किसान क्रेडिट कार्ड योजना:-
किसान क्रेडिट कार्ड योजना का उद्देश्य बैंकिंग व्यवस्था से किसानों को समुचित और यथासमय सरल एवं आसान तरीके से आर्थिक सहायता दिलाना है ताकि खेती एवं जरूरी उपकरणों की खरीद के लिए उनके वित्तीय आवश्यकताओं की पूर्ति हो सके।
कार्ड का बीमा:-
अब कई बैंकों ने अपने क्रेडिट कार्ड धारकों के लिए कार्ड बीमा की योजनाएं भी शुरु की हैं। टाटा एआईजी ने स्टैंडर्ड चार्टर्ड और कोटक महिंद्रा बैंक के कार्ड धारकों के लिए यह सुविधा शुरू की है। हर बार कार्ड खोने या कार्ड के गलत प्रयोग होने पर ५० हजार रुपए तक का बीमा मिल सकेगा। लेकिन साल भर में कुल एक लाख रुपए तक की रकम की भरपाई होगी। इस योजना के अनुसार जब बैंक को कार्ड खोने की जानकारी देते हैं उसके १२ घंटे पहले और बाद के कार्ड पर किए गए सारे गलत प्रयोग का भुगतान कम्पनी करती है।
बीमा:-
स्वास्थ्य बीमा, जीवन बीमा, घर और दूसरी महत्वपूर्ण संपत्तियों के बीमा आदि तो लोगों की सुरक्षा संबंधी जागरूकता का परिचय देते ही हैं। इनके साथ साथ ही लोगों में अब जानकार क्रेडिट कार्ड का बीमा कराने की सलाह भी देने लगे हैं। क्रेडिट कार्ड के बढ़ते उपयोग और उससे जुड़े तमाम धोखा-धड़ी के मामलों के कारण किसी अनहोनी से बचने हेतु क्रेडिट कार्ड का बीमा कराना धारक के लिए अत्यंत सहायक सिद्ध हो सकता है।[5] क्रेडिट कार्ड का बीमा कराने पर यदि धारक के साथ कोई दुर्घटना हो जाती है तो बीमा कंपनी क्रेडिट कार्ड के बकाए का भुगतान क्रेडिट शील्ड सुविधाओं के द्वारा जरिए करती है। इस सुविधा के तहत ग्राहकों को बैंकों द्वारा कई सुविधाएं दी जाती हैं। यह उपभोक्ता पर निर्भर करता है कि वह सब सुविधाएं लेना चाहते हैं या फिर उनमें से कुछ चुनी हुई सुविधाओं का लाभ उठाना चाहते हैं। इसी आधार पर उनकी प्रीमियम राशि निर्भर करती है। उदाहरण के लिये कुछ सुविधाओं के तहत केवल क्रेडिट कार्ड पर बकाया बिल का भुगतान किया जाता है, कुछ योजनाओं के तहत अधिकतम राशि में से बकाया घटाकर शेष राशि को नामित व्यक्ति को दे दिया जाता है।
क्रेडिट कार्ड सुविधाएं प्रदाता विभिन्न बैंक ही कार्ड के बीमे की सुविधाएं प्रदान कर रहे हैं। इस वैकल्पिक सुरक्षा को क्रेडिट शील्ड का नाम दिया गया है। क्रेडिट शील्ड के तहत बकाया भुगतान सुरक्षा की सीमा सभी बैंकों में अलग है। ये सुविधा हर क्रेडिट कार्ड होल्डर को दी जाए, ये भी आवश्यक नहीं। कुछ बैंक अपने बड़े या दीर्घकालीन कार्ड धारकों को ही यह सुविधा देते हैं। क्रेडिट कार्ड बीमे की सुविधा लेने वाले धारकों को एक निश्चित प्रीमियम हर माह देना होता है, जो क्रेडिट कार्ड से ही कट जाता है। इसके अलावा कुछ बैंकों की योजनाओं में बकाया बिल का एक निश्चित अंश प्रीमियम के रूप में चुकाना पड़ता है। इस प्रीमियम में प्रोसेसिंग शुल्क, सेवा कर और शिक्षा अधिभार भी शामिल होता है।
शब्दावली:-
क्रेडिट कार्ड लेते समय बहुत सी बातों का ध्यान रखना चाहिये, जो क्रेडिट कार्ड को एक अच्छा सेवक बनाती हैं व उपयोक्ता को समस्याओं में फंसने से बचाती हैं। इसके लिए क्रेडिट कार्ड की शर्तें व नियम ध्यान योग्य पढ़ने चाहियें।
शुरुआती और सालाना शुल्क:-
कुछ ऊंचे रकम वाले क्रेडिट कार्ड को छोड़कर कई आजीवन क्रेडिट कार्ड निःशुल्क दिए जाते हैं। अतः ऐसे क्रेडिट कार्ड ही लेना चाहिए जिसमें कोई भी शुरुआती शुल्क न हो। यह सुनिश्चित किया जाना चाहिये कि ये आजीवन हो न कि एक साल के लिए।
बकाया राशि हस्तांतरण सुविधा:-
कुछ ग्राहक क्रेडिट कार्ड को अल्पकाल के लिए ऋण की सुविधा के तौर पर लेते हैं। जब ग्राहक एक क्रेडिट कार्ड से ऋण का बोझ नहीं संभाल पाता, तो वह अपने ऋण अन्य कार्ड में हस्तांतरित कर देता है। इसलिए बकाया राशि के हस्तांतरण की सुविधा आवश्यक है।
ब्याज दर:-
यदि क्रेडिट कार्ड के बिल का भुगतान समय से नहीं किया जाता तो बैंक बकाया राशि पर ब्याज दर लगाती है। यदि अल्पकालिक ऋण के तौर पर क्रेडिट ले रहे हैं तो ब्याज दर का अवश्य ध्यान रखना चाहिये। प्रायः यह दर १.३३ से ३.१५ प्रतिशत प्रति महीने की दर से बदलती रहती है और यह विभिन्न क्रेडिट कार्ड पर निर्भर करता है।
ऋणावधि:-
सामान्यतया बैंक २१-५२ दिनों की ऋण अवधि प्रदान करते हैं। यह क्रेडिट कार्ड के प्रकार और लेने-देने की तारीख पर निर्भर करता है। यदि ब्याज दर के बिना ऋण अवधि रहेगी तो उतना ही ज्यादा दिनों तक बिना ब्याज भरे राशि का भुगतान करना पड़ेगा।
ऋण सीमा:-
ऋण सीमा क्रेडिट कार्ड से खर्च की जाने वाली यह अधिकतम राशि होती है। यह प्रयोक्ता की आय पर निर्भर करता है जो कि बैंक क्रेडिट कार्ड देते समय पूछता है। ऐसा माना जाता है कि जितनी ज्यादा ऋण सीमा उतना ही बेहतर। लेकिन जब तक क्रेडिट कार्ड प्रयोग नहीं करते यह सलाह बेकार है। इसके अलावा कार्ड खो जाने की स्थिति में उच्च-सीमा घातक भी हो सकती है।
ग्राहक सेवा:-
कुछ वर्ष पूर्व बैंक और क्रेडिट कार्ड के लिए ग्राहक सेवा उतनी विकसित नहीं थी। लेकिन आजकल ग्राहक सेवा सबसे महत्वपूर्ण है। इसलिए बेहतर रिश्ते वाले बैंक से क्रेडिट कार्ड लेना ज्यादा फायदेमंद होगा।
इनामी अंक और नकदी वापसी:-
सभी बैंक ग्राहकों को इनामी अंक (क्रेडिट पाइंट) या नकद वापसी (कैश बैक) देकर आकर्षित करने का प्रयास करते हैं। इसलिए जो ग्राहक नियमित तौर पर क्रेडिट कार्ड प्रयोग करते हैं उन्हें इस योजना में शामिल होना चाहिए।
खरीदारी की सुविधा:-
एक अच्छा क्रेडिट वहीं है जिसे देश के साथ-साथ विदेशों में भी दुकानदारों द्वारा स्वीकार्य हो। अधिकांश आउटलेट से संबंधित, छूट की सुविधा और खरीदारी की सुविधाओं से युक्त क्रेडिट कार्ड बेहद फायदेमंद रहता है। इसमें पेट्रोल पम्प पर सरचार्ज से मुक्ति और बिल के भुगतान की आसाना सुविधाएं भी शामिल होनी चाहिए।
ध्यान योग्य:-
क्रेडिट कार्ड के प्रयोग के साथ साथ ही कुछ बातों का ध्यान रखना भी आवश्यक होता है:
भुगतान इतिहास:-
क्रेडिट कार्ड सीमा तय करने में उपयोक्ता का क्रेडिट कार्ड इतिहास महत्त्वपूर्ण होता है। क्रेडिट कार्ड का भुगतान देर से करना या ओवरड्राफ्ट होना लिए खतरे की घंटी हो सकता है। यदि बैंक ये महसूस करता है कि उपयोक्ता उसके लिए ऐसे ग्राहक हैं जिनका क्रेडिट रिकॉर्ड बेहतर नहीं है तो वह क्रेडिट कार्ड सीमा को कम भी कर सकता है।
ऋण:-
प्रायः लोग बिना पर्याप्त कारण हि ऋण लोन ले लेते हैं। ये उनकी क्रेडिट कार्ड इतिहास पर बड़ा फर्क डालता है। बहुत अधिक ऋण लेना एक बेहतर तरीका नहीं कहा जा सकता। वित्तीय योजनाकारों के अनुसार यदि किसी व्यक्ति का ६० प्रतिशत वेतन ऋण चुकाने में व्यय हो जाता है, तो इसका अर्थ ये हैं कि वह खतरे की सीमा में है। यदि उन्होंने इतना ज्यादा ऋण ले रखा है जिसे वे सहजता से चुका नहीं सकते तो बैंक ये मान सकता है कि उनको बहुत ज्यादा क्रेडिट लिमिट देना जोखिमपूर्ण होगा।
क्रेडिट इतिहास:-
उपयोक्ता के लिए मात्र ये ही आवश्यक नहीं है कि वे क्रेडिट कार्ड का भुगतान समय से करते हैं। उसका प्रयोग बेहतर तरीके से करते हैं बल्कि यह भी बेहद आवश्यक है कि अन्य बैंक जिनसे उनका किसी तरह का व्यावहारिक संबंध हो। क्रेडिट अंक के मामले में एक ऋण दूसरे को प्रभावित करता है। कई बैंक ग्राहकों को पोर्टफोलियो रिव्यू रिपोर्ट का टूल प्रदान करते हैं। यह उन्हें ये पहचानने में मदद करता है कि कौन डिफाल्टर है। ऐसे में यदि उपयोक्ता क्रेडिट कार्ड के ऋण का भुगतान तो समय से करते हैं, लेकिन कार लोन का भुगतान समयानुसार नहीं करते हैं तो यह उनके लिए नकारात्मक सिद्ध हो सकता है। लोन को नियमित रूप से चुकाने के बावजूद उधार लेने पर भी नियंत्रण रखना होगा।
- क्रेडिट रिपोर्ट जांच:-
उपयोक्ता को चाहिये कि वे अपनी क्रेडिट रिपोर्ट को जांचते रहे। शेष राशि को जमा कर देने का अर्थ ये हैं कि उनका ऋण बंद हो गया। इस समय ये भी पूरह तरह से जांच लेना चाहिये कि उनका ऋण खाता औपचारिक रूप से बंद हो गया। इसके साथ ही ये भी ध्यान रखना चाहिये कि क्रेडिट सीमा कम हो सकती है, यदि:-
- क्रेडिट कार्ड के बिल को समय से नहीं चुकाते हैं।
- सीमा से ज्यादा उधार लेते हैं।
- दी गई क्रेडिट सीमा का प्रयोग नहीं करते हैं।
- क्रेडिट रिपोर्ट में कमियां दिख रही हैं, जो क्रेडिट अंक कम करती है।
आपके पास क्रेडिट कार्ड क्यों होना चाहिए?
उपयोग की आसानी के अलावा, निम्नलिखित कारणों से क्रेडिट कार्ड होना आवश्यक है:
- एक अच्छा क्रे़डिट स्कोर बनाने में मदद करता है
- 45 दिनों तक का क्रेडिट-फ्री पीरियड मिलेगा
- ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीके से आसान ट्रांजेक्शन
- आकर्षक रिवॉर्ड, कैशबैक, छूट, ऑफ़र,आदि के साथ आता है
- इमरजेंसी की स्थितियों में काम आता है
- बड़ी खरीदन करें और बाद में आसान EMI में भुगतान करने के लिए
- सभी ट्रांजेक्शन सुरक्षित हैं क्योंकि उन्हें OTP और पिन वैरिफिकेशन की आवश्यकता होती है
आपके लिए सबसे अच्छा क्रेडिट कार्ड कैसे चुनें?
आपको हमेशा ऐसे क्रेडिट कार्ड की तलाश करनी चाहिए जो आपके खर्च करने की आदतों से मेल खाता हो। प्रमुख रूप से, 5 तरीके हैं जो आपके लिए सबसे अच्छा क्रेडिट कार्ड चुनने में आपकी सहायता कर सकते हैं।
क्रेडिट कार्ड क्यों लेना चाहते हैं
क्रेडिट कार्ड प्राप्त करने के लिए आपको अपनी आवश्यकता की पहचान करनी चाहिए। प्रमुख रूप से, तीन कारण हैं कि लोगों को क्रेडिट कार्ड की आवश्यकता होगी- स्क्रैच से क्रेडिट निर्माण करने के लिए, बड़ी खरीद करने में सक्षम होने के लिए और विभिन्न खर्च श्रेणियों में ऑफ़र प्राप्त करने के लिए अधिक क्रेडिट लिमिट प्राप्त करने के लिए। आपके लिए सबसे अच्छा क्रेडिट कार्ड वह होगा जो आपकी आवश्यकताओं से मेल खाता हो।
क्रेडिट कार्ड के लिए अपनी योग्यता जानें
एक बार जब आप स्पष्ट रूप से जान जाते हैं कि आपको क्रेडिट कार्ड क्यों चाहिए, तो आपको अपनी स्वयं की क्रेडिट प्रोफ़ाइल को समझना चाहिए और आप किन क्रेडिट कार्डों के लिए योग्य हो सकते हैं। उदाहरण के लिए, आप एक क्रेडिट कार्ड चाहते हैं जो आकर्षक ट्रैवल बेनिफिट प्रदान करता है लेकिन कार्ड के लिए आपकी आय कम हो सकती है। Paisabazaar में, आपको अपने क्रेडिट प्रोफाइल और आय के आधार पर क्रेडिट कार्ड के सुझाव मिलते हैं।
बेस्ट क्रेडिट कार्ड्स को शॉर्टलिस्ट करें
अपनी योग्यता के आधार पर, आप कुछ क्रेडिट कार्ड्स को शॉर्टलिस्ट कर सकते हैं। यह सही कार्ड के लिए आपकी सर्च को आसान बना देगा। कार्ड्स को शॉर्टलिस्ट करने के लिए, आप अपने आप से कुछ बुनियादी सवाल पूछ सकते हैं, जैसे कि आप इसकी वार्षिक फीस वहन कर सकते हैं या क्या यह आपकी बुनियादी जरूरतों से मेल खाता है।
उस कार्ड को चुनें जो सबसे अच्छी वैल्यू व ऑफर प्रदान करता है
शॉर्टलिस्ट किए गए क्रेडिट कार्ड में से, वह चुनें जो आपको सबसे अच्छी वैल्यू व ऑफर प्रदान करता है। अपने आप से पूछें कि क्या आप इस कार्ड का उपयोग 5 साल तक करना चाहेंगे। देखें कि क्या बैंक बाद में दूसरे कार्ड में अपग्रेड करने का विकल्प देता है।
चुनें कि आप कैसे आवेदन कर सकते हैं:-
आप या तो सीधे बैंक की वेबसाइट के माध्यम से या किसी थर्ड पार्टी वेबसाइट के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। थर्ड पार्टी वेवसाइट के साथ, आपको आपके लिए सबसे अच्छा क्रेडिट कार्ड सर्च करने के लिए विभिन्न बैंकों से कार्ड की तुलना करने का विकल्प मिलता है।
क्रेडिट कार्ड के लाभ:-
क्रेडिट कार्डधारक निम्नलिखित लाभों का आनंद ले सकते हैं-
वेलकम ऑफर: अधिकांश बैंक कार्ड धारक को विभिन्न प्रकार के स्वागत लाभ प्रदान करते हैं। ये लाभ गिफ्ट वाउचर, छूट या बोनस रिवॉर्ड पॉइंट के रूप में मिल सकते हैं और निर्धारित समय अवधि के अंदर बैंक क्रेडिट कार्ड को सक्रिय करके लाभ उठाया जा सकता है।
रिवॉर्ड पॉइंट और कैशबेक: हर बार जब आप अपने क्रेडिट कार्ड (Credit Card) से शॉपिंग करते हैं, तो आप अपने खाते में कुछ रिवॉर्ड पॉइंट या कैशबेक प्राप्त करते हैं। रिवॉर्ड पॉइंट का इस्तेमाल मुफ्त उपहार पाने और किसी अन्य वस्तु के दाम घटाने के लिए किया जा सकता है जबकि कैशबेक सीधे आपके कार्ड अकाउंट पर लागू होते हैं। यदि आपके पास ट्रैवल क्रेडिट कार्ड है, तो आप रिवॉर्ड पॉइंट्स के बजाय एयर मील कमा सकते हैं जिसका इस्तेमाल हवाई ट्रैवल टिकट बुकिंग के लिए किया जा सकता है।
फ्यूल सरचार्ज छूट: आजकल लगभग सभी क्रेडिट कार्डों (Credit Card) पर इस छूट का लाभ उठाया जा सकता है। विशेष रूप से फ्यूल के लिए दिए जाने वाले क्रेडिट कार्ड पर और अधिक छूट मिल जाती है। जब भी आप अपने वाहन में फ्यूल भरवाते हैं, तो आपको छूट मिलती है बशर्ते आप एक निश्चित राशि खर्च करें।
एयरपोर्ट लाउंज एक्सेस: कुछ क्रेडिट कार्ड (Credit Card) घरेलू हवाई अड्डों के साथ-साथ अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पर साल में एक या एक ज़्यादा बार लाउंज में ठहरना का ऑफर देते हैं। ट्रेवल-सेंट्रिक क्रेडिट कार्ड और प्रीमियम क्रेडिट कार्ड विशेष रूप से इन लाभों का ऑफर देते हैं।
बीमा: क्रेडिट कार्ड (Credit Card) बीमा और दुर्घटना के मामले में एक निश्चित कवर राशि भी देते हैं। ये हवाई दुर्घटना कवरेज, कार्ड खोने पर मिलने वाला कवर या विदेशी अस्पताल में भर्ती होने पर मिलने वाला कवर भी हो सकता है।
कैश एडवांस- आप अपने क्रेडिट कार्ड (Credit Card) का उपयोग कर सीधे एटीएम से नगद राशि निकाल सकते हैं। एमरजेंसी में जब आपको तुरंत नगद राशि की जरुरत होती है तब ये काफी फायदेमंद साबित होता है।
एड-ऑन कार्ड- कई क्रेडिट कार्ड आपको एक ऐड-ऑन कार्ड (जिसे एक सप्लीमेंट्री कार्ड के रूप में जाना जाता है) अपने पति या पत्नी, भाई बहन, बच्चों और माता पिता सहित अपने परिवार के सदस्यों के लिए प्राप्त करने के लिए सुविधा प्रदान करते हैं। ऐड-ऑन क्रेडिट कार्ड आमतौर पर प्राइमरी कार्ड के समान लाभ के साथ आता है।
EMI कन्वर्ज़न- EMI कन्वर्ज़न क्रेडिट कार्ड पर मिलने वाला सबसे सामान्य लाभ है। आप अपनी बड़ी टिकट की खरीद को EMI में बदल सकते हैं और कुछ महीनों की अवधि में भुगतान कर सकते हैं।
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